shabda-sankalan
Saturday, April 16, 2011
अन्दर की बात ..
कभी .. कहीं .. लगता है कि जैसे शब्द अपर्याप्त हैं तो कभी ऐसा भी होता है कि रेखा और रंग अभिव्यक्ति की पूर्णता में सहायक प्रतीत नहीं होते .. फिर मैंने एक ही विषय पर .. शब्द रेखा और रंग .. सभी को मिलाकर देखा ..
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